प्रयागराज मे अब चलेगा जादूगर भार्गव का आध्यात्मिक और काला जादू।

त्रिभुवन नाथ शर्मा की रिपोर्ट

  • राजर्षी टंडन मंडपम मे नए नए जादू लेकर पहुंचे जादूगर ज्ञानेंद्र भार्गव
  • जादू भारत की प्राचीनतम सांस्कृतिक धरोहर हैं- जादूगर भार्गव।

प्रयागराज,यूपी। विश्व के महानतम जादूगर ज्ञानेंद्र भार्गव अपने भारी लाव लश्कर और पचास से भी ज्यादा महिला पुरुष कलाकारों की टीम के साथ प्रयराज पहुंच गए हैं और शुक्रवार से उनका कार्यक्रम शुरू हो जाएगा।


आज प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए उन्होने कहा कि जादू हमारे देश की प्राचीनतम सांस्कृतिक धरोहर है जिसे आज संरक्षण की जरूरत है। अब तक अनेक अवार्ड्स और पुरस्कारों से सम्मानित प्रयागराज में जन्मे, देश के गौरव बहुमुखी प्रतिभा के धनी जादूगर ज्ञाननेंद्र भार्गव ने बताया कि जादू एक कला है और तंत्र मंत्र भूत प्रेत से इसका दूर दूर तक कोई नाता नहीं है जादू कला में कलाकार की साधना, अभ्यास, एकाग्रता, टाइम मैनेजमेंट और सम्मोहन
सृजन का अहम रोल होता है।

भार्गव ने कहा कि लोगों को अंधविश्वास से बचाना उनके जादुई मिशन का मुख्य उद्देश्य है। उन्होने बताया कि उनका हमेशा से प्रयास रहा है कि नए नए करतब प्रस्तुत कर दर्शको का स्वस्थ मनोरंजन किया जाए और इस बार अनेको नए करतब उनके जादुई शो के आकर्षण होंगे जैसे – यहां वो
पहली बार ब्लैक आर्ट मैजिक यानि काला जादू दिखाने जा रहे हैं जिसे आज तक प्रयागराज में कभी किसी जादूगर ने नहीं दिखाया। इसके अलावा आध्यात्म पर आधारित जादू भी मुख्य आकर्षण रहेगा। शो में लड़की को टुकड़ों मे काट कर जोड़ना, लड़की को हवा मे उड़ाना, जिंदा व्यक्ति के शरीर को दो टुकड़ा कर देना आदि अनेक ऐसे करतब है जो यहां के दर्शकों को खूब रोमांचित आनंदित करेगा।


राजर्षी टंडन मंडपम अब जादू महल के रूप में सज गया है और जादू शो का उद्घाटन शुकवार शाम 7 बजे होगा। यहां रोजाना दो शो 1बजे और 6: 30बजे से से होगा जबकि शनिवार और रविवार को तीन शो 1 बजे, 4बजे और 7 बजे से होंगे। इसके अलावा स्कूल के बच्चों के लिए भी स्पेशल शो प्रदर्शित होंगे। हर शो दो घंटे का होगा जिसमें रहस्य रोमांच और हास्य से भरे दर्जनों तरह के कारनामे शामिल होंगे। एडवान्स टिकट बुकिंग सुबह 10 बजे से ही हॉल पर शुरू हो जाया करेगा ताकि लोगों को असुविधा न हो।